पर्यटन और मध्य प्रदेश अब पर्यायवाची बन गए हैं। इतिहास से लेकर वन्यजीवों के आवास तक प्रसिद्ध मध्यप्रदेश पर्यटन कई ऐसी धरोहरों को समेटे हुए है जो विश्व धरोहर में भी शामिल हैं। ओरछा किले से लेकर सांची स्तूप तक आपको पर्यटन की दुनिया में ले जाएगा जहां हर उम्र के लोगों के लिए कुछ न कुछ रोमांचक है। मध्य प्रदेश के खजाने में मांडू का प्राचीन शहर है।
मध्य प्रदेश के खजाने में अनमोल मोती की तरह चमकने वाला प्राचीन शहर मांडू। इसके साथ ही सुल्तानों के समय में राजा और रानी के प्रेम को देखते हुए शादियाबाद को 'खुशियों की नगरी' के रूप में जाना जाता था। वास्तव में, नाम का तात्पर्य इस स्थान से है। मध्य प्रदेश का हर घना जंगल, नर्मदा के खूबसूरत किनारे, ये सब मिलकर मांडू को बसेरा बनाने के लिए जन्नत बनाते हैं।
यह अद्भुत नजारा है इंदौर संभाग के धार जिले में पर्यटक स्थल #मांडू का जहां पर भारतीय पुरातत्व विभाग ने लाइटिंग की है लाइटिंग से जहाज महल बिल्कुल दूधिया रोशनी सा चमकने लगा।#मान्डु#jahajmahal#indore#dhar@MPTourism pic.twitter.com/y4lt1VoniN
— JD Jansampark Indore (@jdjsindore) November 30, 2021
महान कवि अबुल फजल मांडू के जादू से हतप्रभ रह गए। मांडू के लिए उन्होंने कहा कि यह पर्स पत्थर का उपहार है। मुख्य रूप से चार राजवंशों ने यहां शासन किया और अपनी नींव मजबूत की, परमार काल, सुल्तान काल, मुगल काल और पवार काल। मांडू मुख्य रूप से पारिवारिक शासकों द्वारा बसाया गया था, जिनमें से हर्ष, मुंज, सिंधु और राजा भोज इस राजवंश के महत्वपूर्ण शासक रहे हैं।
मांडू: भले ही वक्त के साथ प्रेम गाथाएं पुरानी पड़ गई हों पर रूपमती और बाज बहादुर के रूमानी किस्सों की अनुगूंज आज भी मांडू में रची-बसी है। सुदीर्घ राजभवनों और विशाल अट्टालिकाएं आज वक्त के झौकों में अपना स्वरूप खो चुकी हैं, पर खण्डहर भी अपने विगत का अहसास कराते हैं। मांडव मूल रूप से मालवा के परमार राजाओं की राजधानी था।
तेरहवीं शताब्दी में मालवा के सुल्तान ने इस पर कब्जा कर लिया था। विन्ध्याचल पर्वत श्रेणी के शीर्ष समुद्री सतह से 2000 फुट की ऊंचाई पर बसा है यहां से नर्मदा नदी की एक लकीर की तरह दिखा करती है। मांडव के दर्शनीय स्थल है हुसैन शाह का मकबरा, जामा मस्जिद, अशर्फी महल, नीलकंठ महल, जहाज महल, हिंडोला महल, बाजबहादुर का महल, रूपमती महल आदि। यहां वर्ष 2018 में कुल 1033658 पर्यटक आए। इनमें 6204 विदेशी थे।