मध्य प्रदेश के किसानों को अब 5 रुपए में स्थायी बिजली कनेक्शन मिलेगा। सीएम डॉ. मोहन यादव ने रविवार 2 मार्च को यह घोषणा की। उन्होंने कहा कि यह योजना सबसे पहले मध्य प्रदेश में लागू की जाएगी। इसके बाद पश्चिमी क्षेत्र में विस्तार किया जाएगा।
मुख्यमंत्री डॉ. यादव भोपाल में आयोजित किसान सम्मान आभार सम्मेलन में शामिल हुए। उन्होंने कहा कि इस बजट में सरकार सोलर पंप के जरिए किसानों को बिजली के झंझट से मुक्ति दिलाने की योजना बना रही है। अगले तीन वर्षों में 30 लाख सौर पंप उपलब्ध कराये जायेंगे। इससे दिन में भी बिजली मिलेगी।
सीएम ने कहा कि सरकार सौर ऊर्जा उत्पादन करने वाले किसानों से भी बिजली खरीदेगी। आपको बता दें कि वर्तमान में किसानों को अपने खेतों तक बिजली कनेक्शन लेने के लिए प्रति वर्ष 1000 रुपये का भुगतान करना पड़ता है। 7,500 रुपये का भुगतान करना होगा।
सीएम ने कहा - अगर हमने पहले तार पकड़ लिया होता तो हमें बिजली का झटका नहीं लगता।
सीएम ने कहा कि भारत की साख बढ़ाने के लिए किसानों के जीवन को खुशहाल और समृद्ध बनाना जरूरी है। उन्होंने पूर्व सीएम दिग्विजय सिंह के कार्यकाल के बारे में कहा कि पहले लोग तार पकड़ते थे लेकिन बिजली नहीं आती थी। पहले गांवों में बिजली या सड़क नहीं थी।
शहरों को पीने का पानी, खेतों को पानी, और उद्योगों को पानी उपलब्ध कराया जा सकता है। लेकिन जब हमने उज्जैन में सिंहस्थ के लिए नर्मदा का पानी मांगा तो दिग्विजय सिंह ने विधानसभा में कहा कि यह असंभव है। शिप्रा अधिक ऊंचाई पर है और नर्मदा कम, इसलिए वह नहीं आ सकती। लेकिन आज नर्मदा-शिप्रा लिंक बन गया है।
कांग्रेस ने केन-बेतवा परियोजना को असंभव बताया
केन-बेतवा नदी को जोड़ने से यूपी और एमपी के बुंदेलखंड को बहुत पहले ही पानी मिल सकता था, लेकिन कांग्रेस नेताओं ने इसे असंभव बताया। फिर वे अदालत गए और बाधाएं खड़ी कीं। लेकिन हमने यह असंभव कार्य पूरा कर दिखाया।
चंबल-मालवा के 13 जिलों की पीकेसी (प्रोजेक्ट) के जरिए कायापलट होने जा रही है। चंबल क्षेत्र के लोग कभी-कभी बंदूकें भी उठा लेते थे, क्योंकि "गोपाला, भूखे पेट गीत नहीं गाए जा सकते"। सरकार को इस स्थिति में सुधार करना चाहिए था। अब यह पानी सभी क्षेत्रों तक पहुंचेगा।
सीएम को हल, बैलगाड़ी और गेहूं की बालियां भेंट की गईं
किसान अग्रहार सम्मेलन में सीएम डॉ. मोहन यादव, भाजपा प्रदेश अध्यक्ष वी.डी. शर्मा, भाजपा किसान मोर्चा के प्रदेश अध्यक्ष एवं सांसद दर्शन सिंह चौधरी, कृषि मंत्री एदल सिंह कंसाना, सहकारिता मंत्री विश्वास सारंग, खाद्य एवं नागरिक आपूर्ति मंत्री गोविंद सिंह राजपूत, पिछड़ा वर्ग एवं अल्पसंख्यक कल्याण मंत्री कृष्णा गौर और विधायक रामेश्वर शर्मा उपस्थित थे। इस सम्मेलन में सीएम को एक हल, एक बैलगाड़ी और गेहूं की बालियां उपहार स्वरूप दी गईं।
मंत्री गोविंद सिंह राजपूत ने कहा कि सरकार किसानों के बारे में उनकी उम्मीदों से कहीं ज्यादा सोचती है। उन्होंने कहा कि विभाग के मंत्री को बाद में अखबार से पता चलता है कि क्या निर्णय लिया गया है। सीएम ने कहा कि इस बार खरीद के दौरान केन्द्रों पर पानी एवं छाया की व्यवस्था की जाएगी ताकि किसानों को गर्मी में परेशानी का सामना नहीं करना पड़े। यह खरीदारी 15 मार्च से 5 मई तक चलेगी। यदि आवश्यक हुआ तो सीएम आगे निर्णय लेंगे।
भाजपा किसान मोर्चा के प्रदेश अध्यक्ष एवं होशंगाबाद सांसद दर्शन सिंह चौधरी ने बताया कि धान का समर्थन मूल्य 4000 रुपए प्रति क्विंटल तथा गेहूं का समर्थन मूल्य 2600 रुपए प्रति क्विंटल तय किया गया है। उन्होंने कहा, "हमारी सरकार और सीएम ने जो कहा वह किया और जो नहीं कहा वह भी किया।"
उन्होंने आगे कहा कि दिग्विजय सिंह के शासन के दौरान धार जिले के एक किसान को 2 रुपए का चेक दिया गया था। भाजपा सरकार ने आरबीसी 6/4 में संशोधन कर बिना किसी नीति में बदलाव किए हजारों करोड़ रुपए दे दिए।
भाजपा प्रदेश अध्यक्ष वीडी शर्मा ने कहा कि विधानसभा में 163 और लोकसभा चुनाव में सभी 29 सीटें जीतने में किसान मोर्चा के पदाधिकारियों की बड़ी भूमिका रही। उन्होंने कहा कि सीएम डा. मोहन यादव हर खेत तक पानी पहुंचाने के लिए पार्वती, कालीसिंध और चंबल नदियों को जोड़ने का काम कर रहे हैं।